- संघ ने पूर्व रमन सरकार पर नक्सलवाद के नाम से नान ऑडिट मनी को लूट कर खाने का आरोप लगाया
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने विपक्ष में रहते तत्कालीन रमन भाजपा सरकार को बढ़ते नक्सलवाद को लेकर हमेशा से आगाह किया है। नक्सलवाद को नियंत्रित करने के लिए एकजुटता के साथ काम करने पर भी जोर दिया था और नक्सलवाद का दंश भी कांग्रेस ने ही झेला है। पूर्व रमन सरकार नक्सलवाद को खत्म करने के लिए ईमानदारी से काम करती तो प्रदेश में हुए नक्सली घटनाओं में जो हमारे पुलिस के जवान सुरक्षा में लगे जवानों अधिकारी और प्रदेश की हजारों जनता की शहादत नहीं होती और छत्तीसगढ़ चहुमुखी विकास की ओर बढ़ा होता। आज संघ ने नक्सलवाद के लिए पूर्व रमन भाजपा सरकार को जिम्मेदार ठहरा कर कांग्रेस के आरोप को प्रमाणित किया है।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि राज्य निर्माण के वक्त दक्षिण बस्तर के 4 विकासखड तक नक्सलवाद सीमित था जिसे वही कुचला जा सकता था, वही खत्म किया जा सकता था लेकिन पूर्व रमन भाजपा सरकार की कमीशनखोरी और भ्रष्टाचार की नीति और नियत ने नक्सलवाद को चार विकासखंड से 15 जिला तक पहुंचने दिया। रमन सिंह के गृह जिला कवर्धा भी नक्सलवाद के चपेट में आ गया। इससे समझा जा सकता है कि पूर्व की रमन सरकार नक्सलवाद को लेकर कितनी लापरवाही और कितनी उदासीन थी। नक्सलवाद को खत्म करने के लिए उस दौरान कोई ठोस नीति नहीं बनाई गई बल्कि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में भोले-भाले आदिवासियों को नक्सली बताकर प्रताड़ित किया गया, उन्हें जेल में बंद किया गया था। नक्सलवाद को समाप्त करने के लिए सलाहकार बन कर आए पंजाब के पूर्व डीजीपी केपीएस गिल को रमन सरकार ने वेतन लेने और मौज करने की नसीहत दी थी। जिसके बाद गिल वापस चले गए थे।